छपरा। एकमा के परसा गढ़ स्थित एक निजी विद्यालय की छात्रा के साथ हुए गैंग रेप के मामले में नामजद व पुलिस द्वारा गिरफ्तार छह आरोपियों को न्यायालय ने न्यायिक अभिरक्षा में जेल व पर्यवेक्षण गृह भेजे जाने का आदेश दिया है। एकमा पुलिस ने मामले के आरोपियों, जिनमें विद्यालय के निदेशक सह प्राचार्य उदय कुमार उर्फ मुकुंद और एक शिक्षक बालाजी के अलावा चार अन्य को रिमांड हेतु पोक्सो के प्रभारी न्यायाधीश नवम उदय कुमार उपाध्याय के कोर्ट में प्रस्तुत किया। न्यायधीश ने छह आरोपियों में प्राचार्य उदय कुमार और बाला जी को 20 जुलाई तक के लिये न्यायिक हिरासत में मंडलकारा भेजने का आदेश दिया तो वहीं अन्य चार को उम्र के आधार पर पर्यवेक्षण गृह भेजने का आदेश दिया है।
साथ ही आदेश दिया कि जिन कथित किशोरों को पर्यवेक्षण गृह भेजा गया है, उनके वाद को अलग कर उसे किशोर न्याय बोर्ड में भेजा जाए, जहां उनकी उम्र का सत्यापन किया जा सके। विदित हो कि इस मामले में पीड़िता ने एकमा थाना कांड संख्या 153/18 में एक प्राथमिकी दर्ज करायी है, जिसमें प्राचार्य व दो शिक्षकों बालाजी और सत्यप्रकाश के अलावा विद्यालय के 15 छात्रों को भादवि कि धारा 376 जी /506 और 4/6 पोक्सो एक्ट के तहत नामजद अभियुक्त बनाया है। इनमें पुलिस ने छह नामजदों को गिरफ्तार कर कोर्ट में प्रस्तुत किया है।
गिरफ्तार आरोपी प्रिंसिपल ने कहा कि उनके खिलाफ आरोप साज़िश के तहत लगाया गया है। उन्हें और स्कूल की लोकप्रियता को बदनाम करने का प्रयास किया गया है। उन्होंने कहा कि उनका किसी से कोई विवाद भी नहीं है। आरोपी प्रिंसिपल ने निष्पक्ष और वैज्ञानिक तकनीक से जांच की मांग की, ताकि दूध और पानी का पानी हो जाए। उनका कहना है कि स्स्कूल 18 साल से चल रहा है। आजतक ऐसी कोई घटना कभी नहीं हुई है।
इधर पीड़िता नाबालिग ने आज फिर मीडिया से बात करते हुए अपने साथ हुए घिनौने वारदात को दोहरा। पीड़िता के पिता ने भी अपनी पुत्री के साथ हुए वारदात जानकारी दी। गिरफ्तार आरोपी छात्रों के बड़े भाइयों ने कहा कि उनके अनुज निर्दोष हैं। पता नहीं क्यों ऐसा आरोप लगाकर फंसाया जा रहा है,