पटना। पटना में बड़े कपड़ा व्यवसायी के घर हुईं तीन मौतों का मामला रहस्यमय बना हुआ है। व्यवसायी ने क्यों इतना बड़ा कदम उठाया। अभी तक किसी की समझ में नहीं आ रहा। कहा जा रहा है कि व्यवसायी ने पत्नी और दो बच्चों को गोली मारने के बाद खुद को गोली मार ली। पति, पत्नी और एक बच्ची की मौत तो वहीं हो गयी, जबकि बेटे की सांसें चल रही थीं, इसलिए उसे अस्पताल ले जाया गया। वह जिन्दगी और मौत के बीच जंग झेल रहा है।
मंगलवार का दिन बिहार के लिए अमंगलकारी रहा। घटना में व्यवसायी के लाइसेंसी पिस्तौल के इस्तेमाल की बात आ रही है। पुलिस पूरे मामले का हर एंगल से तहकीकात कर रही है।
कपड़े और ज्वेलरी के बड़े व्यवसायी निशांत सर्राफ ने पत्नी के अलावा 9 वर्षीय बेटी और चार वर्षीय बेटे की कनपटी में गोली दागने के बाद अपनी लाइसेंसी पिस्तौल से खुद को उड़ा लिया था। घर के बंद कमरे से निशांत, उनकी पत्नी अलका, बेटी अनन्या की लाशें मिलीं। बेटे की सांसें चल रही थीं, ऐसा परिवार वालों का कहना है। उसे इलाज के लिए पारस अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां वह मौत से जिंदगी की जंग लड़ रहा है। इसके बाद पुलिस पहुंची।
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पुलिस का दावा है कि कमरे से सुसाइड नोट मिला है, जिसमें निशांत ने हत्याओं और खुदकुशी के लिए खुद को जिम्मेवार बताया है। हालांकि, सुसाइड नोट को पुलिस ने मीडिया से साझा नहीं किया। अधिकारी घटना का कारण स्पष्ट नहीं कर पा रहे हैं। पुलिस पुख्ता साक्ष्य हाथ लगे बिना कुछ भी कहने से कतरा रही है। परिस्थितियों के अनुसार घटना का कारण पारिवारिक विवाद माना और कहा जा रहा है, लेकिन हालात कुछ सवाल भी खड़े कर रहे हैं।
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दस दिन पहले ही पत्नी और बच्चों के साथ हंसी खुशी विदेश भ्रमण कर आये निशांत ने आखिर ऐसा निर्मम कदम क्यों उठाया, यह बड़ी गुत्थी पुलिस के सामने सुलझाने की होगी। दोस्त और रिश्तेदार बताते हैं कि वे गुस्सैल स्वभाव के भी नहीं थे। पुलिस कहती है कि घटना की जानकारी सुबह 9.35 बजे मिली। निशांत की भाभी ने 9.10 बजे मास्टर की से दरवाजा खोला था, तब घरवालों को घटना की जानकारी मिली।
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घटना के वक्त बगल वाले कमरे में निशांत के माता-पिता सो रहे थे। उन्हें गोली चलने की आवाज़ सुनाई नहीं दी, क्योंकि उनका कमरा साउंड प्रूफ है। घर में किसी ने गोली चलने की आवाज नहीं सुनी।
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