अरुण जेटली मेरे मेंटर, मार्गदर्शक, अभिभावक और मित्र थे- सुशील मोदी

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अरुण जेटली मेरे मेंटर, मार्गदर्शक, अभिभावक और मित्र थे- सुशील मोदी
Arun Jaitely and Sushil Modi

“वर्षों तक पूरी नहीं होगी अरुण जेटली की कमी”

पटना: पूर्व वित्त मंत्री व बीजेपी के वरिष्ठ नेता अरुण जेटली के असामयिक निधन पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने उन्हें बेहतरीन रणनीतिकार, कुशल चुनाव प्रबंधक, प्रखर प्रवक्ता, राजनीति से लेकर क्रिकेट की बारीकियों के जादूगर, उदारवादी परंतु राष्ट्रवादी विचारों से ओतप्रोत, मित्रता निभाने वाला राजनेता बताया है। उन्होंने अपने शोक संदेश में कहा है कि अरुण जेटली की कमी को वर्षों तक पूरा नहीं किया जा सकेगा।

“दिल्ली विश्वविद्यालय में पहली बार उनसे हुई थी मुलाकात ”

मोदी ने कहा है कि अगर अरुण जेटली नहीं होते तो जीएसटी लागू करना कठिन होता। विभिन्न विचारों के बीच सहमति बनाने में वे माहिर थे। अनेक बार राजनीतिक संकट उत्पन्न होने पर बिहार के लिए भी जेटली जी संकटमोचक साबित हुए थे। उनसे मेरा चार दशक पुराना संबंध था। जब वे दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ के उपाध्यक्ष निर्वाचित हुए थे तो पहली बार उनसे मुलाकात हुई थी। बाद के दिनों में जेपी आंदोलन, आपातकाल, विद्यार्थी परिषद में कार्य करने के दौरान उनसे अक्सर भेंट होती रहती थी।

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खस्ताहाल अर्थव्यवस्था को विकास राह पर लाने में था योगदान

अरुण जेटली मेरे मेंटर, मार्गदर्शक, अभिभावक और मित्र थे। दोस्तों की मदद करने में हमेशा तत्पर रहते थे। मृदुभाषी, मिलनसार अरुण जेटली का विभिन्न राजनीतिक विचारधारा के लोगों से भी निकट का संबंध था। उन्होंने अपनी प्रखर बौद्धिकता से संसदीय विमर्श को नई ऊंचाई प्रदान की और वित्त मंत्री के रूप में एक खस्ताहाल अर्थव्यवस्था को विकास के राजपथ पर लाने में उल्लेखनीय भूमिका निभायी।

‘एक देश, एक कर’ के संकल्प को सिद्ध करने वाले महान नेता थे जेटली

उनका निधन पार्टी, देश और मेरी ऐसी व्यक्तिगत क्षति है जिसकी निकट भविष्य में भरपाई संभव नहीं है। दुख की इस घड़ी में ईश्वर से प्रार्थना है कि उनके तमाम शुभचिन्तकां, समर्थकों, पार्टी के करोड़ों कार्यकर्ताओं के साथ ही परिजनों को धैर्य व दिवंगत आत्मा को असीम शांति प्रदान करें। उन्हें ‘एक देश, एक कर’ के संकल्प को सिद्ध करने वाले महान नेता के रूप में याद किया जाएगा।

“जेटली जी का जाना मेरी व्यक्तिगत क्षति”

उन्होंने कहा कि, “अरुण जेटली जी का जाना मेरी व्यक्तिगत क्षति है। विद्यार्थी परिषद के समय से मेरा उनसे निकट संबंध रहा। मेरी पुस्तक ‘बीच समर में’ की भूमिका भी उन्होंने लिखी थी।”

स्व. जेटली के अंतिम दर्शन के लिए उपमुख्यमंत्री मोदी शनिवार की शाम 5.50 बजे नई दिल्ली के प्रस्थान किए। वहां होने वाले उनके अंतिम संस्कार में भी शामिल होंगे।

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