JHARKHAND : चार साल में 18 से 85 प्रतिशत हो गये ओडीएफ

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रांची। जानवर का गोबर, घर का कचरा, कृषि कार्य से उत्पन्न बेकार पदार्थों का उपयोग कर हम बायोगैस का उत्पादन कर सकते हैं। इससे न केवल हमें हरित ऊर्जा प्राप्त होगी, बल्कि हमारा गांव भी स्वच्छ रहेगा। ग्रामीण भी आत्मनिर्भर और सशक्त बनेंगे। स्वच्छता आते ही गांव में बीमारियां कम हो जायेंगी। उक्त बातें मुख्यमंत्री श्री रघुवर दास ने कहीं। वे झारखंड मंत्रालय में गोबर-धन योजना पर आयोजित एक दिवसीय कार्यशाला को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वयं सहायता समूह की महिलाएं गांव में उपलब्ध गाय समेत अन्य मवेशियों की सूची बनायें। उन्हें इस योजना से जोड़ें। गांव के बाहर एक स्थान पर गोबर गैस प्लांट लगायें। इससे हरित ऊर्जा के साथ साथ ऑर्गेनिक खाद भी होगी। जिन किसानों ने गोबर दिया है, उन्हें खेत में डालने के लिए यह खाद दी जा सकती है। अतिरिक्त खाद को बेच कर राशि अर्जित करें।

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गोबर गैस प्लांट लगाने के लिए केंद्र सरकार ग्राम पंचायत मॉडल को 100 प्रतिशत तथा स्वयं सहायता समूह फेडरेशन मॉडल को 70 प्रतिशत तक की सबसिडी दे रही है। मुखियागण, स्वयं सहायता समूह और लाभुक समिति मिल कर इसे जन आंदोलन बनायें। इसमें राज्य सरकार हर संभव सहायता करेगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि गांव में विकास समिति बनाकर मुखिया के अधिकार कम नहीं किये गये हैं, लेकिन जनता ने मुखिया को गांव के विकास के लिए चुना है, अपने विकास के लिए नहीं। इसे समझने की जरूरत है। गांव का विकास करें, ताकि लोग आपको बार-बार मुखिया चुनें। मुखिया काम नहीं करेंगे, तो स्वयं सहायता समूह के माध्यम से गांव-गांव में गोबर गैस प्लांट लगाये जायेंगे।

उन्होंने कहा कि अपना गांव-अपना काम समझ कर हर किसी को इसमें सहयोग देना होगा। जनभागीदारी से ही तीव्र विकास संभव है। जब गांव वाले अपना विकास करेंगे, तो दूसरे गांव वाले भी देखकर प्रेरित होंगे।

मुख्यमंत्री श्री रघुवर दास ने कहा कि 2014 में आंकड़ों के अनुसार झारखंड में खुले में शौचमुक्त (ओडीएफ) की स्थिति 18 प्रतिशत थी। आज चार सालों में अच्छा काम का नतीजा है कि स्थिति 85 प्रतिशत तक पहुंच गयी है। दो अक्टूबर 2018 तक महात्मा गांधी की जयंती पर बापू के कदमों में हमें स्वच्छ झारखंड सौंपना है। इसके लिए समर्पण के साथ काम करना होगा। उन्होंने स्वच्छ भारत मिशन में पिछड़ रहे तीन जिले गोड्डा, पलामू और गुमला के उप विकास आयुक्त को काम में विशेष तेजी लाने का निर्देश दिया।

कार्यक्रम में विभागीय मंत्री श्री चंद्रप्रकाश चैधरी ने कहा कि झारखंड ने स्वच्छता के क्षेत्र में काफी अच्छी प्रगति की है। यही कारण है कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने भी अपने मन की बात कार्यक्रम में झारखंड की तारीफ की। यदि हम योजनाबद्ध तरीके से काम करते चलेंगे, तो नतीजे और तेजी से आयेंगे। हमें स्वच्छता के मामले में भी झारखंड को देश में अव्वल स्थान पर लाना है। इस दौरान ओडीएफ को बनाये रखने के लिए एक्शन प्लान पुस्तिका का अनावरण किया गया। अच्छा कार्य कर रहे जिलों को सम्मानित भी किया गया।

कार्यक्रम में पेयजल एवं स्वच्छता सचिव श्रीमती अराधना पटनायक, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव डॉ सुनील कुमार वर्णवाल, स्वच्छ भारत मिशन (झारखंड) के निदेशक श्री राजेश कुमार समेत विभिन्न जिलों के उपविकास उपायुक्त, कार्यपालक अभियंता, मुखिया, महिला स्वयं सहायता समूह की प्रतिनिधिगण, जिला समन्वयक, जिला स्वच्छ भारत प्रेरक, डेयरी फार्म के संचालक समेत अन्य लोग उपस्थित थे।

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